हमें कानून चाहिए
हम तक ऐसा धर्मगुरु नहीं पहुंचे जिसका आचरण सही नहीं है जो परिश्रम की नहीं खाता असत्य आध्यात्मिक इतिहास असत्य जानकारी बताता है दान चंदा लेता बाहुबल के बूते बातें मनवाता है
मुख्यमंत्री अपनी मर्जी नागरिक पर थोप नहीं सकते किसी धर्म को मानने हेतु विवश नहीं करेंगे
पुरे भारत देश में सारे संसार बनाने वाले की स्तुति करने वाला केवल शारीरिक परिश्रम करके खायेंगे चाहे सरकारी या न्यायालय महकमें का ब्यक्ति हो चाहे आम नागरिक पक्ष का ब्यक्ति हो यह निर्देश जारी होगा प्रशासनिक न्यायायिक ब्यक्ति आम नागरिक उत्तर देंगे कितने बड़े संसार बनाने वाले की स्तुति करतें हैं दिए गए उत्तर का सही होना आवश्यक है अन्यथा जेल होगी धन लेकर धर्म विस्तार हेतु बहुत लोग खड़े होंगे लेकिन धन देकर कितने लोग खड़े होंगे आप किसी की स्वतंत्रता पर अंकुश नहीं लगा सकते जैसे पंछी पशुधन पर अंकुश लगाने पर पूरा खर्च वहन करना होता है
मुस्लिम आध्यात्म प्रचारक भाग जाएगा आप प्रयोग करके देख लीजिये जब बिना धन दिए चुनाव की बारी आती है तब अनेक लोग खड़े हो जाते हैं लेकिन जब धन देने की बारी आती है तब अनेक लोग पीछे हट जाते हैं देश के नागरिक को बिना धन दिए शासन करने का अवसर मिलता है तब अनेक लोग चुनाव लड़ रहे हैं लेकिन कानून बन जाए प्रधान मंत्री मुख्यमंत्री विधायक पार्षद प्रति ब्यक्ति 100 रूपये प्रति सप्ताह देंगे तब एक भी ब्यक्ति प्रधान मंत्री मुख्यमंत्री विधायक पार्षद बनने हेतु तैयार नहीं होगा आप जानते हैं अमुक ब्यक्ति बहुत बुद्धिजीवी है वह सत्ता भार संभल सकता है आप उसको पकड़के सत्ता भार सौपोगे लेकिन वह कुर्सी पर नहीं बैठेगा
प्रत्येक धार्मिक स्थलों में सरकारी आध्यात्मिक दान पेटी रखी जाय
प्रत्येक आध्यात्मिक स्थलों में दो दान पेटी रखी जायेगी पहला सरकारी आध्यात्मिक दान पेटी दूसरा स्थानीय दान पेटी रखी जायेगी कोई भी ब्यक्ति आध्यात्मिक ब्यक्ति स्थानीय दान पेटी में दान डालने हेतु प्रेरित और विवश नहीं करेंगे ऐसा करने पर कड़ी कार्यवाई होगी तीन वर्ष बिना बेल जेल होगी
अतः भारत में कानून बनेगा
19 -आध्यात्मिक ब्यक्ति धार्मिक नेता द्वारा राष्ट्र अथवा ब्यक्ति से बलपूर्वक आध्यात्मिक विषय अथवा धर्म मनवाने पर वह राष्ट्र अथवा ब्यक्ति परिवार हेतु अपने शारीरिक परिश्रम द्वारा श्रम सिद्धांतसे प्राप्त सभी भौतिक-अभौतिक सुविधाओं की ब्यवस्था करनी होगी। इसके उपरांत भी उस राष्ट्र और जीव की आत्मा उसके शरीर उसके अधीन व परिश्रम की 10/12/2021 संपत्ति पर हमेशा हेतु आध्यात्मिक विषय अथवा धर्म मनवाने वाले का 10/12/2021 अधिकार नहीं होगा। काऱण आध्यात्मिक-ब्यक्ति आध्यात्म प्रचारक किसी ब्यक्ति जीव-जन्तु-वनस्पति अथवा राष्ट्र संपत्ति का सृजनकर्ता नहीं है।
एक प्रयोग करें आध्यात्म गुरु कितना परिश्रमी होते हैं
हमें रिपोर्ट की आवश्यकता होगी समस्त संसार रचयिता का उपासक परिश्रमी होता है अथवा आलसी होता है इस रिपोर्ट हेतु निर्देश जारी करें न्यायालय जानना चाहती है समस्त संसार रचयिता संसार रचयिता सौरमंडल रचयिता धारण-पोषण कर्ता का उपासक कितना परिश्रमी होता है अंतरिक्ष स्तर पर रिपोर्ट तैयार करना खर्चीला है यह प्रयोग सरल प्रत्यक्ष परिणाम दर्शी प्रयोग है परिणाम आने तक सरकार को तीनों कानून का उपयोग करने का निर्देश जारी करता है
सबके पास कितनी प्रापर्टी है रिपोर्ट मंगाई जाय
आध्यात्म प्रचारक संरक्षक धर्मगुरुओं कथावाचक तकरीर करने वालों मौलाना इमाम जिहादी ब्राम्हण जो आध्यात्म शास्त्र का उपयोग करके आय प्राप्त करते हैं साधू संत संचालक के पास अथवा अधीन कितनी प्रापर्टी है उस प्रापर्टी के निजी स्वामी है या संरक्षक स्वामी है रिपोर्ट मंगाई जाय यह रिपोर्ट इसलिए मंगाई जाय कारण कानून लागु होने के बाद समस्या शुरू होगी
यह रिपोर्ट देने से मन करने पर प्रश्न पूछा जाय यदि आपके क्षेत्र में निर्मित अशान्ति से धन सम्पत्ति की हानि होगी तब आप क्षेत्र का विरोध कर्ता भरपाई करने को तैयार है लिखित में दें तब प्रापर्टी रिपोर्ट नहीं दीजिये
समस्त संसार रचयिता को कोई कमजोर सत्यापित नहीं करेंगे
समस्त संसार रचयिता को कमजोर सत्यापित करने पर आपकी सारी सम्पत्ति जप्त कर ली जायेगी यह सभी धर्म समुदाय पर लागू होगा
जब पिछवाडा फटके हाँथ में आता है तब
मुस्लिम द्वारा ऐसे मनुष्य जीव प्राणी से जबरदस्ती आध्यात्म धर्म मनवाना अनुचित है
जब पिछवाडा फटके हाँथ में आता है तब ब्यक्ति आध्यात्म की शरण में जाता है कथावाचक को सुनने जाता है कथावाचक लोगों को बुलाने नहीं जाता दूसरा कथावाचक के पास लोभ में जाते है चलो भगवान की स्तुति करेंगे तब धनवान बन जायेंगे समस्या समाधान हो जाएगा क्या इनके साथ कोई बल प्रयोग किया जाता है नहीं अब मुसलमान इनको बलपूर्वक मस्जिद की तरफ लेके जाता है जो मस्जिद नहीं जाता उनक पर बल प्रयोग करता है मारपीट हत्या करता है जिहाद के अंतर्गत बलात्कार करता है नहीं माने पर उससे जजिया कर-टेक्स लेता है
ऐसे मनुष्य जीव प्राणी से जबरदस्ती आध्यात्म मनवाना अनुचित है जब धर्म संस्थापक और मौलाना इमाम जिहादी मक्का मदीना चले जायेंगे जब धर्म संस्थापक और पंडित ब्राम्हण केदारनाथ हरिद्वार चले जायेंगे तब भारत को कौन मुस्लिम राष्ट्र कौन हिन्दू राष्ट्र बनाएगा
जीवन शास्त्र पढ़िये
जीवन शास्त्र पढ़िये जीवन शास्त्र सर्वत्र जीवन को सुरक्षित रखता है उनकी स्वतंत्रता को सुरक्षित रखता है लेकिन आध्यात्म शास्त्र किसी एक नाम को सर्वत्र स्थापित करता है दुसरे की स्वतंत्रता पर अंकुश लगता है [ किसी एक आध्यात्म शास्त्र का पाठक जो संसार बनाने वाले पर विश्वाश करता है और उसके ऊपर छोड़ देता है उसे छोड़कर ] कई आध्यात्म शास्त्र की उपस्थिति में विवादी स्थिति बनाता है इसलिए कानून लाया गया है किसी एक आध्यात्म शास्त्र के पाठक के कारण निर्मित तनाव पच्चीस कानून से समाप्त हो जायेगा
कुत्ता पालना मुसलमान मुफ्तवादी ब्राम्हण नहीं
हिन्दुओं ब्राम्हणों के मन में मुसलमानों ने नफरत भरा और दोष भी मुसलमान लगा रहा है
ब्राम्हणों ने शुद्र (सेवा कार्य कर्ता) शब्दों से संबोधित समुदाय के मन में घृणा भरा दोष भी ब्राम्हण लगा रहा है
मुस्लिम कहते हैं तुम हिन्दुओं में नफ़रत भरा है अतः प्रश्न यह नफरत किसने भरा क्या हिन्दुओं ने अपने बुद्धि में खुद नफरत भरा या मुसलमानों ने नफरत भरा और दोष भी मुसलमान लगा रहा है जब अंग्रेज थे हम सब मिलकर लड़ाई लड़ी गंगा जमुना तहजीब बनाया जिसकी बात मुफतखोर मुस्लिम और परिवार वाद ब्राम्हण कहते हैं
जिन्होंने भुखमरी नहीं देखि अपनों की लाशें नहीं देखि वो लोग दुहाई देते हैं तब मज़बूरी थी तब अंग्रेज थे तब हिन्दू ब्राम्हण मुस्लिम मिलकर लड़ाई लड़ा अब अंग्रेज चले गए तब गंगा जमुना तहजीब भूल गए अब याद आया हिन्दू ब्राम्हण अल्लाह की स्तुति नहीं करता उसका कत्ल कर दो अब याद आया इतने सारे लोग शुद्र हैं
इसलिए कहा कुत्ता पाल लेना लेकिन मुसलमान कभी नहीं पालना मुफतवादी ब्राम्हण नहीं पालना मैं जानता हूँ इस कथन से लोगों को क्रोध आएगा भावना आहत होगी पर क्या करें मुफ्तवादी मौलाना इमाम जिहादी ब्राम्हण ने दिमांग में क्रोध भर दिया है शांतिपूर्ण वातावरण तनाव मुक्त जीवन को तनावयुक्त कर दिया इन्हें तीन और पच्चीस कानून लागु करके समाज से मूलधारा से बाहर करना होगा ब्राम्हण चाहता तब अटल बिहारी बाजपेई जी के समय में विकाश दिखाई देने लगता लेकिन ब्राम्हणों ने अपना विकाश को महत्व दिया
ध्यान रहे शोषित समुदाय दुष्ट भ्रष्ट मुफ्वादी ब्राम्हण फिर से हांडी लटकवा देगा स्तन ढकने का टेक्स लेगा पानी पीने नहीं देगा भूमि हडप लेगा बहन बेटी पत्नी उठा ले जाएगा दो तीन दिन सप्ताह बाद वापस लौटाएगा स्वयं को सबसे श्रेष्ठ बताएगा बिना मेरे किसी को मुक्ति नहीं मिलेगा सन्देश देकर इतराएगा मौलाना जब ब्राम्हण पायेगा ब्राम्हण का टेटुआ सीधा दबाएगा फिर तुमसे पूछेगा शोषितों अल्लाह पुजेगा या भगवान भगवान बोला तो सीधा शमशान घाट जाएगा अल्लाह बोलेगा चार बीबी पायेगा तलाक लिया तो हलाला होगा तब साथ जीवन बिताएगा पांच जून का नमाज होगा गोस्त जब चाहे खायेगा पड़ोशन मिल जाए तो उसके साथ भी रात बिताएगा बीबी चिल्लाये तब तीन तलाक से छुटकारा पायेगा बिना हलाला के वापस बीबी नहीं पायेगा बच्चा होने पर कोई प्रतिबन्ध नहीं लगाएगा गैर मुस्लिम मिले उसको मुसलमान बनाएगा अल्लाह के शिवा किसी के आगे सर नहीं झुकाएगा
यह इस्लाम के विरुद्ध है मुफ्तवादी कहेंगे
हर वह चीज वह कानून इस्लाम के विरुद्ध है जो मुफ्तवादियों मौलाना इमाम जिहादी अवसरवादी लक्ष्यधारी ऐय्याशी जुनूनी उन्मादी एक धर्मग्रन्थ को पढ़ने और पढ़ाने और मानने वाला को मुफ्त में खाने की सुविधा से वंचित करता है वह मौलाना इमाम यही कहेगा यह कानून इस्लाम के विरुद्ध है
मौलाना इमाम बार-बार अल्लाह अल्लाह चिल्लाएगा
मेरे द्वारा भगवान परमात्मा ईश्वर देवी वेद पुराण नाम का सहारा नहीं लिया जाएगा लेकिन मौलाना इमाम जिहादी भारत को मुस्लिम राष्ट्र बनाने वाले सेट माइंड धोखे में जीवन जीने वाले लोग एक धर्मग्रंथ के पढ़ने पढ़ाने वाले लोग इतिहास और विज्ञानसे अपरिचित लोग खासकर वे लोग जिनके भेजे में ठूस-ठूस कर भरा गया है तुम्हें अल्लाह की हुकूमत कायम करना है क्या तुम्हें दिखाई नहीं देता जिस अल्लाह ने जमीं और आसमान की हर चीज को बनाया उस अल्लाह की इबादत नहीं करते आसमान से उतारी किताब की बातों पर यकीन और अमल नहीं करते क्या तुम उनका कत्ल नहीं करोगे ऐसे शिक्षा प्राप्त युवा जिन्हें धरती का सही इतिहास विज्ञान नहीं पढ़ाया गया ऐसे युवा मौलाना इमाम जिहादी बार बार कुरान दिखायेगा अल्ला अल्ला चिल्लाएगा
विश्वास और साक्ष्य
विश्वास और साक्ष्य में से आप किसे महत्व देंगे आप कहते हैं विश्वास करो जबकि कानून सत्य को सुरक्षा देता है अतः जो सत्य है वह सुरक्षित है अतः विश्वास करो इस कथन की आवश्यकता नहीं है जब साक्ष्य है तो जानते हैं अतः कहो जानते हैं मानने की आवश्यकता नहीं है विश्वास और साक्ष्य
तुम कौन हो जो दान दें
आप हो कौन आपको दान क्यों दें आप आध्यात्म की बातें बताते हैं अथवा भगवान परमात्मा का उपासक आध्यात्म की बातें बताने वाला परिश्रम करके खानें में असमर्थ हो जाता है इसलिए पैसे धन भूमि सोना चांदी दे कई समुदाय दान लेने के दावेदार हैं दान किस समुदाय को लेने का अधिकार है
यह निर्देश सन १९५० से लागु होगा
दान की सारी धन राशी सरकार के अधीन जमा कर ली जाएगी यह निर्देश सन १९५० से लागु होगा आध्यात्मिक धर्मगुरुओं आध्यात्म प्रचारकों का दान की धनराशी चल अचल सम्पत्ति पर अधिकार नहीं है वो कहते हैं संसारी वस्तुओं से प्रेम मत करो प्रेम करना है तो परमात्मा से करो दुनियावी सामानों से मोहब्बत मत करो अल्लाह खुदा नबी पैगम्बर से करो
न्यायालय 1400 वर्ष पुराना विवाद है एक ईश्वर वाद बहुदेव वादी
न्यायालय न्यायायधीश ज्यादा होशियारी नहीं दिखाना दान चंदा लेने पर प्रतिबन्ध लगा तब साधू संत महंत मौलाना इमाम जिहादी के जीवन की मुलभुत आवश्यकताए कैसे पूरी होंगी न्यायालय न्यायायधीश ज्यादा होशियार हो तब हिन्दू मुस्लिम विवाद को समाप्त करने का उपाय बता दो यदि उपाय नहीं है तब चुपचाप सार्थक परिणाम देते हुए चुपचाप बैठे रहना नहीं तो तुम्हे समस्या हल करने कहा जाएगा
उनसे प्रश्न पूछा गया था भगवान परमात्मा ईश्वर परमेश्वर देवी देवता अल्लाह नबी पैगम्बर फरिस्तों का उपासना करने वाला बहुत परिश्रमी होता है अथवा परिश्रम करने में असमर्थ आलसी निकम्मा हो जाता है उन्होंने उत्तर दिया बहुत परिश्रमी होते हैं ऐसा कोई कार्य नहीं जो वह नहीं कर सकता अतः उत्तर अनुसार कार्य करें दान चन्दा को हाथ नहीं लगायेंगे सभी दान चंदा सरकारी खजाने में जमा होगा
न्यायालय प्रतिबन्ध लगा सकती है
न्यायालय कभी भी आध्यात्मिक गुरुओं पर प्रतिबन्ध लगा सकती है एक सर्वे किया और निर्देश जारी किया सभी आध्यात्मिक धर्म प्रचारक वक्ता संरक्षक कथावाचक हवाई जहाज कार से यात्रा नहीं करेंगे साधारण मकान में रहेंगे आप पर कहने का सुझाव देने का आरोप है आप आध्यात्मिक गुरुओं आध्यात्म प्रचारकों ने कहा यह संसारी सुविधा है जिसका उपयोग नहीं करना है हमें साक्ष्य चाहिए आपके कथन अनुसार पुरे देश में उपरोक्त निर्देश जारी किया जा रहा है न्यायालय द्वारा केवल एक सर्वे रिपोर्ट की आवश्यकता होगी बहस कराने की आवश्यकता नहीं है
किस धर्म समुदाय को दान देना सबसे श्रेष्ठ है
क्या सारे संसार की उपसना करने कराने वाला संसार रचयिता की उपासना कराने वाला अथवा सरकार लेगी सरकार पालन कर्ता की भूमिका में है लेकिन दान चंदा उपहार सरकारी आध्यात्मिक खजाना कार्यालय में जमा होगा इस धनराशी के उपयोग अधिकार सरकार के पास नहीं होगी
केवल दान लेने पर प्रतिबन्ध है दान चंदा देने पर प्रतिबन्ध नहीं समुदाय निर्णय ले दान कहाँ जमा होगा क्या दान जिस समुदाय के आध्यात्मिक धर्म प्रचारक ने लिया है वह समुदाय अपने पास रखेगा क्या सारे संसार की उपसना करने कराने वाला संसार रचयिता की उपासना कराने वाला अथवा ब्राम्हण प्रमुख साधू मौलाना इमाम जिहादी अथवा सरकार लेगी अथवा विश्व ब्यापी आध्यात्मिक प्रमुख कार्यालय में जमा होगा धन किस राष्ट्र का धन कहाँ जमा किया जा रहा है धन भूमि किसका परिश्रम किसका धन उपयोग कर्ता कौन निर्णय करना होगा विकास की जिम्मेदारी प्रशासन की है भागीदारी सभी सक्षम ब्यक्ति और समूहों की है
दो निर्देश जारी होंगे
पहला जो आध्यात्मिक आध्यात्म प्रचारक शारीरिक-परिश्रम करके नहीं खाते केवल श्रम-सिद्धांत से प्राप्त धनराशी का उपयोग नहीं करते वह ब्यक्ति न्यायालय और आध्यात्मिक मंच में अपना आध्यात्मिक वक्तब्य नहीं दे सकते केवल शारीरिक परिश्रम करके खाने वाले केवल श्रम-सिद्धांत से प्राप्त धनराशी का उपयोग करने वाले न्यायालय और आध्यात्मिक मंच में अपना आध्यात्मिक वक्तब्य दे सकते हैं अन्य कोई नहीं उन्हें अपनी कोई भी बात रखने कहने की अनुमति नहीं होगी कोई भी पक्ष नहीं रख सकते
दूसरा जब तक निर्णय नहीं होता संसार किसने बनाया और दान कौन लेगा कौन सही दावेदार है तब तक दान की सारी धनराशी सरकारी आध्यात्मिक कार्यालय में जमा होता रहेगा इस कार्य हेतु सभी धार्मिक स्थलों में सरकारी आध्यात्मिक पेटी रखी जाएगी जिसमें दान की सभी धनराशी जमा होगी क्योकि सबने दावेदारी किया है इन्होने सारे संसार को बनाया है और सभी दावेदार ब्यक्ति श्रम सिद्धान्त से प्राप्त धनराशी का उपयोग नहीं करते केवल प्रेरित सिद्धान्त से प्राप्त धनराशी का उपयोग करते हैं जो दो जून भोजन की ब्यवस्था नहीं कर सकता आप उसे आध्यात्म प्रचार करने की अनुमति देंगे वह भी लोगों में तनाव निर्मित करते हुए आध्यात्म का प्रचार करता हो
वर्तमान अंतिम निर्णय दान चन्दा सरकारी आध्यात्मिक खजाने में जमा होगा विवाद से बचाना है इसलिए सरकारी आध्यात्मिक खजाना के पास जमा होगा
आध्यात्मिक धर्म प्रचारक वक्ता संरक्षक कथावाचक दान चंदा उपहार सहयोग राशि अथवा किसी अन्य रूप में धन राशी नहीं लेंगे केवल परिश्रम करके खायेंगे अथवा भिक्षा लेकर जीवन यापन करेंगे किसी भी ब्यक्ति से उसकी सहमती से उधार की धन राशि ले सकते हैं लेकिन भिक्षा लेने वाला आध्यात्म का प्रचार नहीं करेंगे
सरकारी आध्यात्मिक खजाना कार्यालय
सरकारी आध्यात्मिक खजाना कार्यालय सरकार को तीन प्रारूप में धन राशि सरकार को उपलब्ध कराएगी
1 सहयोग राशी 2 उधार धनराशी 3 ब्याज धनराशी सहयोग राशी वापस नहीं की जायेगी उधार और ब्याज राशी वापस की जायेगी इससे नागरिक को सन्देश प्राप्त होगा सरकार की कार्यशक्ति किस श्रेणी का है उच्च मध्यम अथवा निम्न स्तर का है तब नागरिक निर्णय लेगी वर्तमान सरकार व पार्टी को चुनाव में विजयी बनाना है अथवा नहीं
दान देने पर प्रतिबन्ध नहीं है
भगवान परमात्मा ईश्वर यहोवा अल्लाह देवी देवता नबी पैगम्बर फरिश्तों ने कहा इसलिए दान देने पर प्रतिबन्ध नहीं लगा सकते दान लेने पर प्रतिबन्ध लगाने से दान देने वाला किसे दान देगा इसका उत्तर क्या है दान देने पर किसी भी प्रकार का प्रतिबन्ध नहीं है आध्यात्मिक धर्म प्रचारक वक्ता संरक्षक कथावाचक जहाँ बोलेंगे दान वहां दि जायेगी लेकिन आध्यात्मिक धर्म प्रचारक वक्ता संरक्षक कथावाचक को दान लेने की अनुमति नहीं होगी दान पालन कर्ता के खजाने में जमा होगा पालनकर्ता की भूमिका में प्रसाशन है लेकिन दान प्रसाशनिक आध्यात्मिक कार्यालय के अधीन जमा होगा प्रसाशन उपरोक्त धनराशी का उपयोग प्रसाशनिक आध्यात्मिक कार्यालय के अनुमति के बिना नहीं कर सकती
यह सत्य है शून्य को जीवित तत्वों में ब्यवस्थित किया गया है। उन्हें हम सृजनकर्ता कहते है। इस शक्ति को कई नाम दिए गए है यह नाम किन शक्तियों के द्वारा दिया गया इसका प्रत्यक्ष प्रमाण नहीं है अनेक समुदाय अलग अलग उन्हीं नामों का अनुशरन करते हैं ये नाम ऐय्याशी करने वालों का शोहरत पाने वालों का प्रमुख सिद्धांत बन गया है। यही है ईश्वरवाद ऐय्याशी सिद्धांत। इस वाद को और मजबूत बनाने वाला सिद्धांत जन्नत जहन्नम (स्वर्ग नरक ) है। दो ही लोको में समस्त आकाश गंगाये सूरज चाँद तारे समां गए हैं हिन्दू धर्म ने विष्णु लोक को बैकुंठ लोक बताया जहाँ गए लोग कभी वापस नहीं आते। यही ईश्वरवाद ऐय्याशी सिद्धांत परेशानी में पड़े लोगों को मंदिर मस्जिद चर्च में जाने को विवश करता है जहाँ से उनका ब्यापार की शुरुआत हो जाती है। नविन धार्मिक स्थल कुछ समय बाद मजबूत आध्यात्मिक ब्यापार का केंद्र बन जाता है। परेशानी में पड़े लोगों को हमेशा समस्त संसार बनाने वाला याद आता है जो सृजनकर्ता का नाम बताया गया है वही आदि अंत सर्वत्र नजर आता है। जबकि प्रकृति उन नामों को पूर्ण रूप से स्वीकार नहीं करती यही उसका स्वभाव है वह असत्य को स्थापित नहीं कर सकती, इंसानों द्वारा सृजक को याद करने पर कुछ राहत दे सकती है लेकिन पूर्ण समस्या निवारण नहीं किया जायेगा। वह अंतरिक्ष के सत्य को सम्हाल कर रखती है। यदि पूर्ण समस्या का निवारण कर दिया जाये तो अंतरिक्ष के सत्य का विनाश हो जायेगा।
ईश्वरवाद ऐय्याशी सिद्धांत वादियों के द्वारा हिंदुस्तान में सदियों से खून खराबा होता रहा अपनी सत्ता बनाये रखने की हर कोशिश करते रहे और अभी भी जारी है, लेकिन कानून के बनने के बाद अब जाकर कुछ खून खराबा थमा है। लेकिन पाकिस्तान में अब भी जारी है। ईश्वरवाद ऐय्याशी सिद्धांत मुफ्त में मान सम्मान उच्च आसान पर बैठने का अवसर प्रदान करता है। इनके आलावा जो लोग बच जाते हैं उन्हें परिश्रम करने वालों की श्रेणी में कार्य करना होता है। यह देश में विकृत ब्यवस्था बढ़ाने में पूर्ण सहयोग करता है। इसका उदाहरण देशों में देखने को मिलता। जो ईश्वरवाद ब्यवस्था को स्थापित करने के लिए बल का प्रयोग करता हो बिना परिश्रम के धन अर्जित करता हो सुख सुविधा के वातावरण में रहता हो। ऐसे समूह का सत्ता समाप्त होना चाहिए। हिंदुस्तान में मनुवादी पाकिस्तान में जेहादी। कई लोग ब्रेन वाश करना जानते हैं ईश्वर की बात बता बता कर विवश करना। ईश्वर के लिए हम अपनी जान भी दे सकते है हमको उनके लिए अपनी जान की बाज़ी लगा देनी होगी। प्रत्येक परिवार में उनकी इबादत होनी चाहिए, जो परिवार बात ना माने उसे कड़ी दण्ड दो। ऐसे विचारधारा के लोग समाज की शांति भंग करने वाले लोग है।
मुसलमान हिन्दू को भगा रहा है हिन्दू भाग रहा है
हिन्दू भाग रहा है मुसलमान भगा रहा है क्यों क्योकि अगर हिन्दू नहीं भागेगा तब मौलाना हिन्दू को मुसलमान बना देगा जो मुस्लिम धर्म नहीं मानेगा मुस्लिम उसका कत्ल कर देगा नहीं तो जजिया देना पड़ेगा बहन बेटी भी देना पड़ेगा एक सप्ताह एक दिन या चार से छह दिन के लिए
हमने कहा तीन और पच्चीस कानून ले लो देखना मुसलमान और मौलाना इमाम जिहादी भागने लगेगा
अल-तकिया दाई जिहाद जजिया मुस्लिम का मूल मन्त्र है
अल-तकिया :- तेरा मालिक मेरा मालिक सब एक ही है बस हम इस तरीका से मानते हैं
दाई :- जब इनकी बातों में फंस जाओगे तब कहेंगे तुम्हारे धर्म में यह बुराई है मेरे धर्म में यह अच्छाई है
जिहाद :- जब संख्या बढ़ जाएगी तब कहेंगे मुस्लिम धर्म काबुल करो नहीं तो जान से मार देंगे
जजिया :- दो चार के मारे जाने के बाद भी मुस्लिम धर्म नहीं माने तब कहेंगे मुस्लिम धर्म कबुल नहीं किया इसलिए जजिया देते रहोगे तब बक्क्ष देंगे जान से नहीं मारेंगे
सृजन कर्ता का पक्ष दान नहीं लेगा वह देने वाला पक्ष है
दान कौन लेगा जब तक ज्ञात नहीं होगा दान लेने पर प्रतिबन्ध रहेगा
जब तक ज्ञात नहीं होगा तब तक प्रतिबन्ध रहेगा भगवान परमात्मा ईश्वर यहोवा अल्लाह देवी देवता नबी पैगम्बर फरिश्तों सारे संसार संसार रचयिता का उपासक द्वारा दान लेना उचित है अथवा अनुचित है तथा किस स्तर के आध्यात्मिक उपदेशक धर्मगुरुओं द्वारा लिया जाना श्रेष्ठ है मध्यम है निम्नस्तर का है यह ज्ञात होने के पश्चात निर्णय लिया जायेगा तब तक सभी समुदाय दवारा दान लेने पर प्रतिबन्ध लगाई जाती है क्योकि यह पक्ष देने वाला पक्ष है सृजित पक्ष भक्तगण श्रोतागण लेने वाला पक्ष है
सृजित पक्ष भक्तगण श्रोतागण लेने वाला पक्ष भगवान परमात्मा ईश्वर यहोवा अल्लाह देवी देवता नबी पैगम्बर फरिश्तों सारे संसार और संसार रचयिता से लेने जाता है और उपयोग के बाद रचयिता धनस्वामी तेरा तुझको अर्पण करने वाला पक्ष है इसलिए दान चंदा की सभी धन राशी प्रशासनिक आध्यात्मिक कार्यालय में जमा होगी क्योकि प्रशासन पालनकर्ता की भूमिका निभाता है अतः पालनकर्ता के पक्ष में दान की सभी धनराशी जमा होगी
पुरे भारत में प्रतिबन्ध रहेगा
जिनके द्वारा परिश्रम करके धनराशी का उपयोग नहीं किया जाता उनके द्वारा धर्म आध्यात्म प्रचार करने पर प्रतिबन्ध रहेगा इसके साथ सृष्टि रचयिता के सम्बन्ध में धरती इतिहास के सम्बन्ध में मानव जीवन के सम्बन्ध में धर्म आध्यात्म ज्ञान दाता द्वारा गलत जानकारी गलत इतिहास नहीं बताया जाएगा
सारे संसार वाले की स्तुति करना कठिन एक निर्देश जारी करो
कानून लागु करो सबका अजन्मा के शिवा किसी और की स्तुति नहीं कराई जाएगी
न्यायपालिका और प्रसाशन सारे संसार वाले के शिवा किसी और किसी की स्तुति नहीं होगी यह कानून लागु करो और दुसरे दिन से सारे संसार वाले के शिवा किसी और की स्तुति कराने वाले की कुटाई करना शुरू कर दो मतलब मुस्लिम मौलाना इमाम जिहादी को जब चाहो कूट डालो कुरान के हवाले नहीं जानते पुराण के आधार पर नहीं जानते विज्ञान के हवाले आधार से जानते हैं केवल विज्ञान दिखाओगे धर्मशास्त्र दिखाओगे
इस कानून का मतलब कोई भी वेद पुराण कुरान बाइबिल इंजील तौरेत नहीं दिखा सकते ईश्वर भगवान परमात्मा अल्लाह यहोवा देवी शिवा ब्रम्हा विष्णु की स्तुति नहीं करवा सकते यदि इन नामधारी की स्तुति करवाओगे तब पुलिस के हांथों कुटे जाओगे क्योकि इन सभी में से कोई भी प्रथम अजन्मा नहीं है जिसकी सम्पत्ति से संसार सारे संसार बनाया गया है नागरिक को भयभीत होने की आवश्यकता नहीं है आप जिसकी चाहे स्तुति कर सकते है यह कानून केवल स्तुति कराने वाले पर लागू होगा स्तुति करने वाले पर लागु नहीं होगा
मुसलमानों को बहुत खुजली है सारे संसार बनाने वाले के शिवा किसी और की स्तुति करने वाले की हत्या कर दो यह कहने की और बहुत आनन्द आता है यह कहते हुए हम सारे संसार बनाने वाले की स्तुति करते हैं उसके शिवा किसी और की स्तुति नहीं करते भले ही सर कट जाए सर कटेगा गर्भजन्मा का कहने वाले का नहीं क्योंकि उसने गर्भ से जन्म नहीं लिया है यह उसका कथन है शिक्षा से प्रेरित कथन हैं ब्यवहारिक कथन नहीं है
इस कानून को लागू करके कुटना शुरू करो लोग जिन्दा रहेंगे लेकिन सुधर जायेंगे मुस्लिम सीधा हत्या की बात कहता है
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ये कैसा कानून है तुम्ही जिम्मेदार हो बहुत शौक था |
मुसलमान तीन और पच्चीस कानून नहीं मानेगा तो कोई बात नहीं
मुसलमान मौलाना जो कहते हैं वही निर्देश जारी करो
हिन्दुस्तान पांच साल में मुस्लिम से खाली हो जायेगा ब्राम्हण नागा बाबा बन के घुमने लगेगा देश में आध्यात्मिक विवाद हिन्दू मुस्लिम विवाद शुद्र शोषण (सेवाकार्य कर्मचारी शोषण) समाप्त हो जाएगा
मुसलमान जो कहते हैं वही निर्देश जारी करो मुस्लिम कहते हैं सारे संसार बनाने वाले सबका अजन्मा के शिवा किसी और की इबादत स्तुति उपासना हराम है बस यही कानून उपरोक्त निर्देश के साथ लागु कर दो
1 सारे संसार बनाने वाले के सबके अजन्मा के शिवा अन्य किसी की स्तुति नहीं होगी
2 यह कानून आध्यात्म धर्म प्रचारक संस्थापक संरक्षक पर लागू होगा आम नागरिक पर लागू नहीं होगा वो जिसकी स्तुति करना चाहे कर सकते हैं
3 कोई भी आध्यात्म शास्त्र नहीं दिखायेंगे सिर्फ विज्ञान दिखायेंगे आध्यात्म शास्त्र दिखाओगे तब कुटे जाओगे
4 श्रम सिद्धान्त से शारीरिक परिश्रम करके खायेंगे जहाँ शरीर से पसीना बहता हो कोई परिश्रमिक मूल्य देता हो वही परिश्रम करेंगे दान उपहार चंदा नहीं लेंगे ब्यवसाय नहीं करोगे जैसे दुकान ठेला कंपनी खेती आदि केवल मजदूरी कार्य आता है
5 कभी झूठ नहीं बोलेंगे मांस मदिरा का सेवन नहीं करेंगे
6 एक स्त्री के शिवा किसी और से सम्बन्ध स्थापित नहीं करेंगे आप समस्त संसार की सम्पत्ति वाले के उपासक हैं अतः अशलील गलत सन्देश नहीं दोगे
6 सृष्टि धरती मानव रचना घटना इतिहास के सम्बन्ध में कभी झूठा गलत इतिहास नहीं बताएँगे वैज्ञानिक पुरातत्व रिपोर्ट सही इतिहास दिखायेंगे
7 जितने लोगों से बल पूर्वक धर्म आध्यात्म की बातें मनवाएंगे जीवन भर पूरा खर्च देना होगा यह धनराशी स्वयं की श्रम सिद्धांत से शारीरिक परिश्रम से प्राप्त धन सम्पत्ति होना चाहिए
8 धन सम्पत्ति के आभाव में भिक्षा मांग कर खाओगे लेकिन आध्यात्म धर्म का प्रचार नहीं करोगे आपने सत्यापित किया उपासक शारीरिक परिश्रम करके खाने में असमर्थ हो जाते हैं इसलिए
9 बहुगुण वादी की पूजा (तत्व सृष्टा से आकार सृष्टा व गर्भजन्मा पालन पोषण आकार निराकार शिक्षा उपासना ) सम्पूर्ण गुण वादी की पूजा स्तुति आकार निराकार की शिक्षा उपासना सुरक्षित रहेगा जो स्वतंत्र व आवश्यक सिद्धांत है छेड़खानी नहीं करेंगे
अल्लाह को बोलो जीवों को बनाना बंद कर दे विवाद खत्म
जीवों को बनाता कौन है अल्लाह को बोलो जो समुदाय अल्लाह की स्तुति नहीं करता उस समुदाय के घरों में संतान बनाना बंद कर दे हो गया अल्लाह की चारो तरफ हुकूमत सिंपल जीवों को बनाना बंद कर दे फिर वह मुसलमानों की तरफ दौड़ेगा और मुसलमान तो केवल अल्लाह की इबादत करता है इसलिए शैतान उसे परेशान नहीं कर सकता हो गया चारो तरफ अल्लाह की इबादत चारो तरफ चिल्लाये बैठे हैं अल्लाह की हुकूमत स्थापित करना है अल्लाह की हुकूमत स्थापित करना है
अब ये मत कहना अल्लाह पहले आजमाता है अल्लाह इम्तिहान लेता है फिर बारगाही देता है यह कानून तो मुसलामानों पर भी लागू है
पागल मौलाना इमाम जिहादी किसे अनुमति देंगे
कितने बड़े संसार रचयिता का उपासक आध्यात्म का प्रचार करेंगे मुस्लिम समुदाय क्या स्वीकार करता है कौन आध्यात्म का प्रचार करेगा कानून बना दो केवल सारे संसार को बनाने वाला की उपासना करने वाला के शिवा कोई और आध्यात्म ज्ञान का प्रचार नहीं करेंगे उत्तर देना प्राण लेने की बात मत कहना
1600 पेन्सिलवेनिया एवेन्यू उत्तर पश्चिम, वाशिंगटन डीसी- संयुक्त राष्ट्र'है।
मौलाना दम है तो न्यायालय में बोलकर बताओ
मुस्लिम मौलाना इमाम जिहादी सारे संसार बनाने वाले के सबके अजन्मा के शिवा किसी और की स्तुति कराने पर उसका कत्ल कर देंगे
सारे संसार बनाने वाले के सबके अजन्मा के शिवा किसी और की स्तुति कराने पर पुलिस मिलिट्री की बीस लाठी पड़ेगा दिन में जीतनी बार स्तुति कराओगे उतनी बार लाठी पड़ेगा स्तुति कराने वालों को श्रम सिद्धान्त से प्राप्त पारिश्रमिक मूल्य धनराशी का उपयोग करना होगा प्रेरित सिद्धांत से प्राप्त मूल्य का उपयोग आध्यात्म प्रचार हेतु नहीं किया जाएगा यह कानून केवल प्रार्थना स्तुति उपासना कराने वालों पर लागू होगा यह कानून किसी भी आम नागरिक पर लागु नहीं होगा
कोई भी मंच पर खड़ा होकर कहा अल्लाह खुदा की स्तुति करनी चाहिए शिव विष्णु ब्रम्हा देवी भगवान परमात्मा ईश्वर की स्तुति करो यह कहने वाले को वहीँ पर बीस लाठी या सीधा कनपटी पर थप्पड़ ही थप्पड़ लगा दो और बोलो सबके अजन्मा के शिवा किसी और की स्तुति नहीं कराओगे कुरान पुराण वेद बाइबिल इंजील तौरेत नहीं दिखाना अन्यथा थप्पड़ पड़ेगा क्योकि कानून है सारे संसार रचयिता सबके अजन्मा के शिवा किसी और की स्तुति नहीं कराओगे केवल विज्ञान दिखाना ब्रम्हाण्ड सारे संसार का चित्र दिखाकर बताओगे किसकी स्तुति करा रहे हो
आम नागरिक आप को कृष्ण मंदिर राम मंदिर शिव मंदिर दुर्गा मंदिर गणेश मंदिर जाना है जाइए आम नागरिक आप को चर्च जाना है जाइए आप को मस्जिद जाना है जाएये आप पर कानून लागु नहीं है केवल स्तुति कराने वाले पर लागू होगा चाहे पंडित ब्राम्हण मौलाना इमाम जिहादी चर्च के फादर पास्टर अथवा बार बार उपदेश दाता आम नागरिक पर लागु होगा
बिना वैज्ञानिक साक्ष्य दिखाए मारपीट और हत्या बलात्कार भय दिखा कर आध्यात्मिक बातें असत्य बातें मनवाता है तुम उसकी हत्या कर दो यह तुम्हारा अधिकार है तुम्हें केवल तीन वर्ष की जेल होगी लेकिन हत्या का आरोपी नहीं ठहराया जायेगा यह कानून सभी आकाशगंगा स्तर पर लागु है हत्या का भय दिखाकर अंतरिक्ष का सत्य सम्पत्ति स्वामी नहीं बदल सकते जैसा भूमि विवाद में होता है
जब तक निर्णय नहीं हो जाता तब तक दान कोई नहीं लेगा केवल सरकार के पास जमा होगा जब निर्णय हो जाएगा उपरोक्त पक्षधर सही है तब सम्बंधित को दे दे दिया जाएगा अन्यथा नहीं
रोज कथा सुनना चाहिए
रोज कथा सुनना चाहिए तो ठीक है धर्म गुरु आप अपनी मेहनत से भोजन की ब्यवस्था कर दो दिन रात कथा सुनते रहेंगे देखना एक भी धर्मगुरु कथा सुनाने की बात नहीं कहेगा वह जानता है लोभी ढ़ोंगी जानता है ढेर सारा धन मिलेगा इसलिए स्वार्थी ब्यक्ति कहता है जब देने की बारी आएगी तब कभी नहीं बोलेगा
दान लेने के सम्बन्ध में किस वर्ग द्वारा आपत्ति की जा रही है
पहले इसकी रिपोर्ट न्यायालय में प्रस्तुत करे
एक आध्यात्मिक धर्मग्रन्थ के पाठक द्वारा क्या सभी धर्मग्रन्थ का पाठक द्वारा विश्व का ज्ञान रखने वाला पदार्थ ऊर्जा को जानने वाला आकाशगंगा को जानने वाला संसार रचना को जानने वाला जिसे विज्ञानं की मान्यता प्राप्त है अथवा धर्मग्रन्थ पर विश्वास करने वाला मुफ्तवादीयों द्वारा ब्यापारी द्वारा लीडर द्वारा पंद्रह बीस तीस साल इतिहास नहीं जाने वाला लक्ष्यधारी अवसर वादी जुनूनी उन्मादी परिश्रम करके नहीं खाने वाला के द्वारा आपत्ति लगाई गई है पहले इसकी रिपोर्ट न्यायालय में प्रस्तुत करे इसके पश्चात अपना पक्ष रखें
अल्लाह ने संसार बनाया जानकारी देने पर प्रतिबन्ध लगेगा सीधे जेल होगी मुस्लिम समुदाय ने संसार रचयिता के सम्मान को हानि पहुंचाई है उसे कमजोर बताया
धरती के इतिहास से सत्यापित होता है अल्लाह ने संसार नहीं बनाया मुस्लिम वैज्ञानिक पुरातत्वेता साक्ष्य इतिहास से साक्ष्य प्रस्तुत करें अल्लाह ने संसार बनाया कुरान के कथनों को साक्ष्य नहीं माना जायेगा हथियार और हठधर्मी नहीं दिखायेंगे हथियार ओरों के पास भी है
निर्देश जारी किया जाय सभी आध्यात्मिक धर्मगुरु परिश्रम करके खायेंगे
पुलिस को निर्देश जारी किया जाय वह न्यायालय में रिपोर्ट प्रस्तुत करे देश के सभी आध्यात्मिक धर्मगुरु शारीरिक परिश्रम करके खाते हैं जो परिश्रम करके नहीं खाते उन्हें जेल भेजा जाए चाहे करोडपति हों चाहे अरबपति हों भारत का कानून है आध्यात्म का प्रचार करने वाला शारीरिक परिश्रम करके खायेंगे कोई भी सत्यापित नहीं करेंगे भगवान परमात्मा ईश्वर अल्लाह की उपासना करने पर आलसी निकम्मा हो गए हैं हम परिश्रम करके नहीं खा सकते बूढ़े हो गए हैं बूढ़े हो गये हो तब घर बैठो और भिक्षा लेकर खाओ आध्यात्म का प्रचार नहीं करोगे भारत की सरकार न्यायालय जानता और मानता है संसार रचयिता संसार को पालने वाला की शक्तियां कमजोर नहीं है उसे संसार में आध्यात्म की सुरक्षा उसके विस्तार के लिए किसी आध्यात्मिक वेशभूषा धारी की आवश्यकता नहीं है
जितने ब्यक्ति से धर्म मनवाएंगे उतने ब्यक्ति को पूरा खर्चा देंगे
क्योकि आपने सत्यापित किया है संसार पालने वाला की शक्तियां कमजोर है वह आध्यात्मिक बातें नहीं मनवा सकता जबकि केवल बुखार हो जाए तब पूरा परिवार भगवान परमात्मा रचयिता की स्तुति करने लगता है अतः ऐसे परिवार अथवा समूह से आध्यात्म की बाते जबरदस्ती नहीं मनवाएंगे यदि कोई मौलाना इमाम जिहादी साधू संत आध्यात्मिक नेता धर्मं आध्यात्ममनवाते हैं तब पुरे परिवार को केवल अपने शारीरक परिश्रम के द्वारा श्रम सिद्धांत प्राप्त धनराशी से जीवन भर पूरा खर्चा देंगे किसी भी अन्य स्रोत से धनराशी की सहायता नहीं लेंगे
प्रेरित सिद्धांत का उपयोग नहीं करेंगे जैसे खेती ब्यवसाय पंचर बनाना होटल चलाना वस्त्र भंडार आप केवल शारीरक परिश्रम करके किसी के द्वारा पारिश्रमिक दिया जाता है वही धनराशी परिवार व समूह को उपलब्ध कराएँगे तब धर्मं आध्यात्म प्रचार धर्म स्थापना का सारा भुत उतर के भाग जाएगा धर्मं आध्यात्म प्रचार धर्म स्थापना करने की जिम्मेदारी और सुविधा उन लोगों को दि गयी है जिनका आचरण श्रेष्ठ है कभी असत्य कथन नहीं कहते प्रत्यक्ष साक्ष्य दिखाते हैं और सबकी स्वतंत्रता सुरक्षित रखते हैं कोई अंकुश नहीं लगाते हत्या दण्ड देने की बात नहीं कहते सृष्टि का रहस्य नियम और कर्म परिणाम बताते हैं और ईश्वर के न्याय पर छोड़ देते हैं
सारी सम्पत्ति जप्त कर ली जायेगी
जितने लोगो से आध्यात्म की बाते बलपूर्वक मनवाएंगे उतने लोगों को जीवन भर खर्चा देना होगा इसके अन्तर्गत जितने लोगों से आपने धर्म मनवाया है उनके पालन पोषण हेतु आवश्यक धनराशी के रूप में आपकी सारी सम्पत्ति जप्त कर ली जायेगी आपके द्वारा पूर्व में जितने लोगों से धर्म मनवाया गया था उनके लिए भी सम्पत्ति ली जायेगी उतनी धनराशी अगले माह हेतु पुनः लिया जाएगा
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